'शंकर का चेहरा नहीं देखना चाहती थी, क्रू मेंबर्स ने जबरन सामने बैठाया', प्लेन में बदसलूकी की शिकार पीड़िता का दर्द

पिछले साल 26 नवंबर को एयर इंडिया की न्यूयॉर्क से नई दिल्ली आने वाली फ्लाइट में शराब पीकर बुजुर्ग महिला पर पेशाब करने की घटना ने तूल पकड़ लिया है. आरोपी शख्स की पहचान 34 साल के शंकर मिश्रा के तौर पर हुई है. वह फरार है जबकि पुलिस लगातार उसकी लोकेशन ट्रेस करने में लगी है. ऐसे में पीड़ित बुजुर्ग महिला ने एयर इंडिया को सवालों के कटघरे में खड़ा किया है.
महिला का कहना है कि उसने फ्लाइट के क्रू सदस्यों से साफतौर पर कह दिया था कि वह इस शख्स (शंकर मिश्रा) का चेहरा तक नहीं देखना चाहती. लेकिन वह उस समय दंग रह गई, जब आरोपी को उसके सामने लाकर खड़ा कर दिया. वह लगातार रो रहा था और माफी मांग रहा था.
आरोपी के खिलाफ दर्ज की गई एफआईआर के मुताबिक, शंकर ने बहुत मिन्नतें की थी कि उसके खिलाफ शिकायत दर्ज नहीं की जाए.
एफआईआर के मुताबिक, शंकर मिश्रा लगातार कह रहा था कि उसका एक परिवार है और वह नहीं चाहता कि इस घटना से उसकी पत्नी और उसके बच्चे को ठेस पहुंचे. पीड़ित महिला का कहना है कि वह आरोपी का चेहरा नहीं देखना चाहती थी लेकिन क्रू मेंबर्स ने जबरन आरोपी को उसके सामने ला खड़ा किया और सुलह कराने की कोशिश की. जबकि वह इससे संतुष्ट नहीं थी.
क्या कहती है एफआईआर?
महिला की शिकायत के बाद दिल्ली पुलिस ने शंकर मिश्रा के खिलाफ एफआईआर दर्ज की, जिसमें कहा गया है कि फ्लाइट में लंच परोसे जाने के बाद लाइट्स स्विच ऑफ कर दी गई थी. बिजनेस क्लास की सीट नंबर 8ए पर बैठा आरोपी बुजुर्ग महिला की सीट पर आया और उस पर पेशाब कर दिया. वह तब तक महिला के पास खड़ा रहा, जब तक महिला की बगल में बैठे शख्स ने उसे जाने को नहीं कहा. बहुत कहने के बाद वह लड़खड़ाता हुआ अपनी सीट पर गया.
महिला ने एफआईआर में बताया, मैं तुरंत उठी और इस घटना की जानकारी क्रू मेंबर्स को दी. मेरे कपड़े, जूते और बैग पूरी तरह से पेशाब में भीग गए थे. बैग में मेरा पासपोर्ट, ट्रैवल डॉक्यूमेंट और पैसे थे. फ्लाइट स्टाफ ने मेरे सामान को छूने से मना कर दिया. मेरे बैग और जूतों पर केमिकल छिड़का गया. मुझे बाथरूम ले जाया गया और मुझे पहनने के लिए एयरलाइन के पाजामा और जुराबें दी गईं.
पीड़िता कहती हैं कि मैने स्टाफ से मेरी सीट बदलने को कहा लेकिन मुझसे कहा गया कि फ्लाइट में कोई सीट खाली नहीं है. लेकिन मेरी हालत देखते हुए बिजनेस क्लास के एक अन्य यात्री ने बताया कि फर्स्ट क्लास सेक्शन में सीटें खाली हैं.
एफआईआर में बताया गया है कि महिला इसी तरह 20 मिनट तक खड़ी रही. उसके बाद एयरलाइन स्टाफ ने उन्हें एक छोटी सीट मुहैया कराई, जहां वह दो घंटे तक बैठी रही. लेकिन बाद में क्रू मेंबर्स ने उन्हें अपनी सीट पर लौटने को कहा. लेकिन जब महिला ने मना कर दिया तो उसे क्रू मेंबर्स की सीट दी गई.
एक्शन के बजाए महिला को मनाने में जुटी थी एयरलाइन?
एफआईआर में महिला ने कहा है कि बाद में फ्लाइट स्टाफ ने मुझे बताया कि आरोपी मुझसे मिलकर माफी मांगना चाहता है. लेकिन महिला ने उससे मिलने से इनकार कर दिया. महिला का कहना है कि वह चाहती थी कि उसे गिरफ्तार किया जाए. लेकिन क्रू मेंबर्स ने अचानक आरोपी को उसके सामने लाकर खड़ा कर दिया और हमें जबरन एक-दूसरे के सामने बैठा दिया गया. मैं हैरान रह गई कि उसने मेरे सामने रोना शुरू कर दिया और माफी मांगने लगा. वह मेरे सामने गिड़गिड़ाने लगा कि उसकी शिकायत नहीं की जाए क्योंकि वह बाल-बच्चों का वाला शख्स है और नहीं चाहता कि इससे उसके परिवार को ठेस पहुंचे.
महिला ने क्रू मेंबर्स पर बेहद गैरेपेशेवर रुख अपनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि वह इस बेहद संवेदनशील और ट्रॉमैटिक स्थिति पर कुछ नहीं कर पाए.
महिला ने बताया कि मेरे दामाद ने 27 नवंबर को एयरलाइन को शिकायती मेल किया, जिसके बाद एयरलाइन ने फ्लाइट टिकट की राशि लौटाने पर सहमति जताई. लेकिन अभी तक एयरलाइन पूरा रिफंड नहीं कर पाया है. महिला का कहना है कि एयरलाइन टिकट का हर्जाना तो दे देगा लेकिन मेरे साथ हुए इस भयावह अनुभवा का हर्जाना देना मुश्किल है.
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